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15 दिन के अंदर बीमा क्लेम का निपटारा हो: फिशकॉपफेड

मत्स्य सहकारी समितियों की शीर्ष संस्था फिशकॉपफेड ने बुधवार को नई दिल्ली स्थित अपने मुख्यालय में “मछुवारों की सामाजिक सुरक्षा” पर एक कार्यशाला का आयोजन किया। इस कार्यशाला में ओरिएंटल इंश्योरेंस कंपनी के महाप्रबंधक गुरमीत ग्रोवर, फिशकॉपफेड के अध्यक्ष प्रकाश लोनारे, प्रबंध निदेशक बी.के.मिश्रा सहित विभिन्न राज्यों से आए फिशकॉपफेड के शासी परिषद के सदस्यों ने कार्यशाला में भाग लिया।

इस मौके पर फिशकॉपफेड के अध्यक्ष प्रकाश लोनारे ने मछुवारों के हित में कई बात रखी। उन्होंने ओरिएंटल इंश्योरेंस कंपनी के महाप्रबंधक गुरमीत ग्रोवर के समक्ष मछुवारों के सुरक्षा बीमा से जुड़े उनकी कई समस्याओं को उजागर किया।

लोनारे ने कहा कि 2003 में हमने ओरिएंटल इंश्योरेंस कंपनी के साथ जुड़कर मछुवारों का सुरक्षा बीमा करवाया था। यह योजना पिछले काफी वर्षों से अच्छी तरह से कार्य करने में सक्षम है, लेकिन पिछले एक साल से योजना में दिक्कतें आ रही है।

फिशकॉपफेड के अध्यक्ष ने कहा हम मछुवारों को इस योजना से जोड़ने के लिये साल में लगभग दो बार संगोष्ठी और कार्यशाला का आयोजन करते थे, लेकिन पिछले एक साल से हम ऐसा करने में सक्षम नहीं है। आखिर क्यों, हमें इस पर विचार करना चाहिए।

उन्होंने गुरमीत ग्रोवर से आग्रह किया कि जो खामिया इस योजना में रूकावट पैदा कर रही है, कृपया उन्हें जल्द से जल्द दूर करने का प्रयास किया जाया। मछुवारों को उनका क्लेम मिले क्योंकि वे समाज के गरीब लोग है।  

फिशकॉपफेड के प्रबंध निदेशक बी.के.मिश्रा ने कहा कि भारत सरकार ने 2014 में इस योजना के क्लेम की राशि को बढ़ाकर एक लाख से दो लाख रुपय कर दिया है, इसके अलावा 10,000 का मेडिकल कवर भी दिया जाएगा।

उन्होंने कहा कि क्लेम देने में बहुत देरी की जा रही है जबकि भारत सरकार ने साफ तौर पर कहा है कि जो मामला स्पष्ट है उस पर आपको 15 दिन में क्लेम देना है।

उन्होंने कहा कि 46 लाख मछुवारों जिन्होंने बीमा करवाया हुआ है, उनका डेटाबेस तैयार करने की बहुत आवश्यकता है और इसके लिये हमारे पास इतना फंड नहीं है कि हम अकेले इसको तैयार कर सके।

हम चाहते है कि जिन मछुवारों का बैंक खाता है, उनको सीधा क्लेम उनके खाते में स्थानांतरण किया जाये।

इस मौके पर ओरिएंटल इंश्योरेंस कंपनी के महाप्रबंधक गुरमीत ग्रोवर ने कहा कि मौजूदा समय में लगभग 45 लाख मछुवारों इस योजना से जुड़े हुए हैं, इसके लिये मैं फिशकॉपफेड को धन्यवाद देता हूं।

पिछले 4 सालों में हमारे पास 1,890 क्लेम रिपोर्ट हुये है जिनमें से 1,707 क्लेम दे दिया गया है और यह बात सही है कि कुछ क्लेम अभी तक लंबित है लेकिन वह सब कुछ कारण से लंबित है जैसे किसी में दस्तावेज़ की कमी है, यह कहीं पर हमें समय पर सूचना नहीं दी गई आदि।

मछुवारों का प्रधानमंत्री जन-धन योजना के तहत बैंक खाता खोला जाए, जिससे की सीधा क्लेम उनके खाते में स्थानंतरण किया जा सके, ग्रोवर ने एमडी की बात का समर्थन करते हुए कहा।

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