हम यहां पत्र पेश कर रहे हैं जो हमें कई बार भेजा गया है। हमने इसमे एक भी शब्द नहीं बदला है और प्रोजेक्ट अधिकारियों द्वारा लगाए गये आरोप को खुले मंच से आपके सामने प्रस्तुत कर रहे है- संपादक
आदरणीय महोदय,
हम एनसीयूआई- सहकारी शिक्षा क्षेत्र प्रोजेक्ट के कर्मचारी हैं, हम अपनी निम्नलिखित शिकायतें प्रस्तुत कर रहे हैं।
1.एनसीयूआई के मुताबिक, मंत्रालय वेतन में वृद्धि करने के लिये फंड नहीं दे रहा है, डीए, 6 महीने का वेतन, अन्य सभी लाभ जो प्रोजेक्ट स्टाफ को दिया जाना चाहिए, यह गलत है क्योंकि मंत्रालय ने 10वीं और 11वी पंचवर्षीय योजना में एनसीयूआई क्षेत्र प्रोजेक्ट के लिये 100 प्रतिशत अनुदान दिया है। 12वीं पंचवर्षियों योजना में इसे 50:50 के अनुपात में बदला गया है। एनसीयूआई ने मंत्रालय के फंड का दुरुपयोग किया है।
2. एनसीयूआई ने प्रोजेक्ट अधिकारियों से वेतन में पुनर्गठन के लिये हलफनामा लिया था। एनसीयूआई ने प्रोजेक्ट अधिकारियों के वेतन को अभी तक पुनर्गठन नहीं किया है।
3.कृषि और सहकारिता मंत्रालय द्वारा एनसीयूआई को एनसीसीटी और एनसीयूआई के क्षेत्र प्रोजेक्टों के लिये 100 करोड़ रुपये की संचित निधि दी गई थी।
एनसीयूआई, एनसीयूआई प्रोजेक्टों को संचित निधि के अंतर्गत नहीं मानता है। यह मंत्रालय और एनसीयूआई के बीच समझौते का उल्लंघन है।
4.नियुक्ति के आदेश के अनुसार, प्रोजेक्ट अधिकारी सभी लाभ प्राप्त करने के पात्र है, जो एनसीयूआई मुख्यालय के कर्मचारियों को दिये जाते हैं अगर केंद्रीय सेक्टर योजना में क्षेत्र प्रोजेक्ट जारी है।
क्योंकि केंद्रीय सेक्टर योजना जारी है, प्रोजेक्ट अधिकारी सभी लाभ पाने के हकदार है जो एनसीयूआई मुख्यालय के कर्मचारियों को 2005 से दिया जाता रहा हैं।
5.वेतन में वृद्धि को एक समय तक नियत करना: यह कर्मचारियों के सेवा नियमों के खिलाफ है। सेवा नियमों के अनुसार जो व्यक्ति वेतनमान पर नियुक्त किया गया है वह बिना वास्तविक कारणों के समेकित वेतन में बदला नहीं जा सकता है। एनसीयूआई ने सेवा नियमों का उल्लंघन किया है।
6.प्रोजेक्ट अधिकारियों की सेवानिवृत्ति की उम्र: एनसीयूआई अधिसूचना के अनुसार दिनांक 20.6.2007, कर्मचारी एनसीयूआई सहकारी शिक्षा क्षेत्र प्रोजेक्ट की सेवा से 58 साल की उम्र में रिटायर हो जाएगा, 5वें वेतन आयोग के अनुसार। अगर व्यक्ति एनसीयूआई के प्रधान कार्यालय का कर्मचारी है तो व्यक्ति 60 साल की उम्र में रिटायर होगा।
7.प्रोजेक्ट अधिकारियों के वेतन की समस्या का कारण: एनसीयूआई के अधिकारी विवरण प्रस्तुत नहीं कर रहे हैं जैसे व्यय विवरण, मंत्रालय द्वारा दिया गया बजट प्रस्ताव, मंत्रालय द्वारा दिए गए अनुदान की रिपोर्ट, क्षेत्र प्रोजेक्ट की उपलब्धियां आदि का ब्यौरा मंत्रालय को वक्त पर नहीं दिया जा रहा है। वेतन में विविधताओं के अनुसार, क्षेत्र परियोजना कर्मचारियों के वेतन के लिए फंड की मांग नहीं की जा रही है। एनसीयूआई के मुख्य कार्यकारी एनसीयूआई के प्रोजेक्ट स्टाफ की समस्याओं की जानकरी एनसीयूआई की शासी परिषद की बैठक में नहीं रख रहे हैं। यही कारण है कि एनसीयूआई के अध्यक्ष और कई शासी परिषद के सदस्य प्रोजेक्ट कर्मचारियों की समस्याओं से रूबरू नहीं है।
8.मंत्रालय के अनुसार, वे एनसीयूआई के प्रोजेक्ट स्टाफ की वेतन समस्या को व्यवस्थित करने के लिए तैयार है। पिछले वर्ष, मंत्रालय ने 2 करोड़ रुपये दिये थे जिसमें से 40 लाख रुपए एनसीयूआई प्रोजेक्टों के लिए दिया गया था, लेकिन एनसीयूआई के मुख्य कार्यकारी अधिकारी प्रोजेक्ट स्टाफ की वेतन समस्या को सुधारने के पक्ष में नहीं है। एनसीयूआई के सीईओ ने कहा कि एनसीयूआई के अध्यक्ष और शासी परिषद के सदस्य ने कहा है कि मंत्रालय एनसीयूआई की परियोजना के लिये फंड नहीं दे रहा है, लेकिन यह झूठ है। इसलिए हम शासी परिषद से आग्रह करते हैं कि वह इस मामले की जांच करवाए और मुख्य कार्यकारी से मंत्रालय को विवरण प्रस्तुत करने को कहे और समस्याओं का जल्द से जल्द हल किया जाए।
9.प्रोजेक्ट स्टाफ का विस्तार आदेश: 3 महीने के विस्तार आदेश के बजाय, कारण बताओं नोटिस को वापस लिया जाए और एनसीयूआई, प्रोजेक्ट स्टाफ को स्थायी नियुक्ति आदेश भेजा जाए।