नेफकब की 39वीं एजीएम के अवसर पर प्रतिनिधियों ने शहरी सहकारी बैंकों में मीडिया की भूमिका पर जोर दिया।
सोनीपत से शांता जैन ने कहा कि अगर प्राइवेटाइजेशन हुआ तो उस दिन से सहकारी आंदोलन का उद्देश्य ही खत्म हो जाएगा। सरकार सहकारी बैंकों को कोई सहायता प्रदान नहीं करती तो फिर उनसे आयकर क्यों वसूला जाता है, शांता जैन ने पूछा।
राजस्थान से प्रतिनिधि रमेश आचार्य ने कहा कि सहकारी क्षेत्र में जबतक मीडिया की भूमिका नहीं होगी तब तक यह क्षेत्र आगे नहीं बढ़ सकता, हमें मीडिया को हमारी गतिविधियों के बारे में जागरूक करने की बहुत आवश्यकता है।
एक प्रतिनिधि ने सुझाव दिया कि नेफकब को एक टीम गठित करके उस टीम को सिर्फ आयकर के बोझ को खत्म कराने का कम सौंपा जाए। जसबीर सिंह ने कहा आरबीआई के प्रस्ताव के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में एक याचिका दायर करनी चाहिए।
राजकोट नागरिक सहकारी बैंक के पूर्व अध्यक्ष ने कहा कि हम आरबीआई के प्रस्ताव का मिलकर विरोध करेंगे।