मीडिया में यह व्यापक रूप से बताया गया है कि हिमाचल प्रदेश राज्य सहकारी बैंक ने मानदंडों का उल्लंघन करके कुल्लू की दो पनबिजली परियोजनाओं को ऋण जारी किया है।
बैंक के ऑडिट में यह बात सामने आई है। बैंक प्रबंधन ने जांच शुरू करने के बाद प्रबंध निदेशक से रिपोर्ट तलब की है।
अधिकारियों का कहना है कि रिपोर्ट के आधार पर जल्द ही एक प्राथमिकी दर्ज की जाएगी।
सूत्रों का कहना है कि 2009 में, कुल्लू की दो परियोजनाओं- हिमांद्री हाइड्रो पावर प्रोजेक्ट और ग्रेवल एनर्जी कंपनी को करोड़ों रुपये का ऋण दिया गया था। आरोप है कि अधिकारियों ने मानदंडों का उल्लंघन करके ऋण मंजूर किए हैं।
यह खुलासा 2018-19 के ऑडिटिंग के दौरान हुआ है। सहकारी बैंक के निदेशक राकेश गौतम ने कहा कि पूर्व सरकार के समय में ऋण दिया गया था। अनियमितताओं के रहस्योद्घाटन के बाद, एक गहन जांच चल रही है।