महाराष्ट्र स्थित मल्टी-स्टेट शेड्यूल्ड बैंक- नागपुर नागरी सहकारी बैंक ने अपनी 2019-20 की वित्तीय रिपोर्ट जारी की है। जारी वित्तीय रिपोर्ट की मानें तो बैंक ने वित्तीय मापदंडों पर अच्छा प्रदर्शन नहीं किया है। बैंक के एनपीए में वृद्धि हुई है और लाभ में गिरावट दर्ज की गई है।
रिपोर्ट के मुताबिक, 31 मार्च 2020 तक बैंक का सकल एनपीए 10.28 प्रतिशत से बढ़कर 11.31 प्रतिशत हो गया जबकि शुद्ध एनपीए 4.40 प्रतिशत से बढ़कर 5.17 प्रतिशत हो गया। बैंक का शुद्ध लाभ 5.59 करोड़ रुपये से घटकर 2019-20 वित्त वर्ष में 3.46 करोड़ रुपये हो गया है।
बैंक के सीईओ सुभाष गोडबोले ने वित्तीय रिपोर्ट पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा, “चूंकि अन्य वित्तीय संस्थान कोविड-19 के मद्देनजर काफी चुनौतियों का सामना कर रहे हैं और इसका प्रभाव हमारे बैंक पर भी पड़ा है”।
मार्च के मध्य में लॉकडाउन के कारण, बैंक बकाया वसूलने में विफल रहा और कोरोनो वायरस के मद्देनजर कई अन्य गतिविधियां भी बाधित हुईं ।
“एनपीए में वृद्धि का मुख्य कारण कोरोना वायरस है और हमने अपने मुनाफे से 8.5 करोड़ रुपये का प्रावधान किया है। हम अभी भी बैंक को नई ऊंचाइयों पर ले जाने और अच्छा प्रदर्शन करने का प्रयास कर रहे हैं। 31 मार्च 2020 तक बैंक का कुल कारोबार 2,289 रुपये से बढ़कर 2,330 करोड़ रुपये हो गया है”, उन्होंने कहा।
गोडबोले ने आगे कहा कि बैंक के जमा में थोड़ी वृद्धि हुई है लेकिन बैंक के ऋण और अग्रिम में कमी आई है।
बैंक की जमा राशि 1462 करोड़ रुपये से बढ़कर 1533 करोड़ रुपये हो गई, जबकि ऋण और अग्रिम 31 मार्च 2020 तक 826 करोड़ रुपये से घटकर 804 करोड़ रुपये हो गए।
बैंक का सीआरएआर 14.39 प्रतिशत है और कार्यशील पूंजी 1718 करोड़ रुपये है। बैंक की शेयर पूंजी 2591.80 लाख रुपये है।
बैंक की महाराष्ट्र, मध्य प्रदेश और छत्तीसगढ़ में 45 शाखाओं का नेटवर्क है। उल्लेखनीय है कि संजय भेंडे की अध्यक्षता वाले बोर्ड का कार्यकाल समाप्त हो गया है और प्रबंधन ने अधिकारियों को चुनाव से संबंधित पत्र लिखा है।