भारतीय रिजर्व बैंक ने सोमवार को पांच सहकारी बैंकों पर 27.50 लाख रुपये का जुर्माना लगाया।
आरबीआई ने रहिमतपुर सहकारी बैंक लिमिटेड, रहिमतपुर, जिला सतारा (बैंक) पर भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा जारी ‘जमा खातों का रखरखाव – प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक’ संबंधी निदेशों के अननुपालन के लिए 1 लाख रुपये का मौद्रिक दंड लगाया है।
गडहिंग्लज अर्बन को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड, गडहिंग्लज, जिला सतारा (बैंक) पर बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 (बीआर अधिनियम) की धारा 56 के साथ पठित धारा 26ए और भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा जारी अपने ग्राहक को जानिए संबंधी निदेशों के उल्लंघन के लिए 3.00 लाख रुपये का मौद्रिक दंड लगाया है।
इसके अलावा, भारतीय रिज़र्व बैंक ने दि सहयाद्रि सहकारी बैंक लिमिटेड, मुंबई (बैंक) पर बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 (बीआर अधिनियम) की धारा 56 के साथ पठित धारा 26ए, पर्यवेक्षी कार्रवाई ढांचे (एसएएफ) के अंतर्गत भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा जारी कतिपय निदेशों के उल्लंघन तथा भारतीय रिज़र्व बैंक के ‘अपने ग्राहक को जानिए (केवाईसी) और ‘जमा खातों का रखरखाव-प्राथमिक (शहरी) सहकारी बैंक’ संबंधी निदेशों के अननुपालन के लिए 6.00 लाख रुपये का मौद्रिक दंड लगाया है।
कल्याण जनता सहकारी बैंक लिमिटेड, कल्याण, महाराष्ट्र (बैंक) पर भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा जारी ‘जमाराशियों पर ब्याज दर’ और ‘जमा खातों का रख-रखाव’ संबंधी निदेशों के उल्लंघन के लिए 4.50 लाख रुपये का मौद्रिक दंड लगाया है।
भारतीय रिज़र्व बैंक ने एसबीपीपी को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड, किल्ला पारडी, गुजरात (बैंक) पर भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा जारी ‘जमाराशियों पर ब्याज दर’ संबंधी निदेशों के अननुपालन के लिए ₹13 लाख (तेरह लाख रुपये मात्र) का मौद्रिक दंड लगाया है।
यह दंड, बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 की धाराओं 46 (4) (i) और 56 के साथ पठित धारा 47 ए (1) (सी) के प्रावधानों के अंतर्गत भारतीय रिज़र्व बैंक को प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए लगाया गया है।
यह कार्रवाई विनियामकीय अनुपालन में कमियों पर आधारित है और इसका उद्देश्य उक्त बैंक द्वारा अपने ग्राहकों के साथ किए गए किसी भी लेनदेन या करार की वैधता पर सवाल करना नहीं है।