पश्चिम बंगाल राज्य सहकारी बैंक ने वित्त वर्ष 2022-23 में 150.21 करोड़ रुपये का शुद्ध लाभ कमाया, जो पिछले वित्त वर्ष यानी 2021-22 की तुलना में 50 करोड़ रुपये अधिक है।
भारतीय सहकारिता संवाददाता से बात करते हुए बैंक के प्रबंध निदेशक नीलांजन सिन्हा ने कहा, “बैंक लगातार विकास पथ पर है और साल दर साल नए मील के पत्थर स्थापित कर रहा है। वित्त वर्ष 2022-23 में बैंक का सीआरएआर और नेटवर्थ क्रमश: 27.96 प्रतिशत और 29 प्रतिशत रहा। 31 मार्च 2023 तक बैंक का परिचालन लाभ 205.52 करोड़ रुपये था।
31 मार्च 2023 को बैंक का जमा आधार 11,905 करोड़ रुपये (2021-22) से घटकर 11,015 करोड़ रुपये हो गया, जबकि वित्त वर्ष 2022-23 में ऋण और अग्रिम 9,194 करोड़ रुपये से बढ़कर 10,081 करोड़ रुपये हो गए।
सिन्हा ने आगे कहा, बैंक आईएमपीएस शुरू करने की प्रक्रिया में है और उम्मीद है कि इसे दिसंबर तक लॉन्च किया जाएगा। इसके अलावा, बैंक निकट भविष्य में शाखाएं खोलेगा और नई एटीएम मशीनें स्थापित करेगा। बता दें कि सिन्हा ने इस साल जनवरी में एमडी के रूप में कार्यभार संभाला था।
वित्त वर्ष 2022-23 में सक्रिय केसीसी धारकों की संख्या 2.11 लाख से अधिक थी। 31 मार्च 2023 को शेयर पूंजी 161.02 करोड़ रुपये से बढ़कर 171.84 करोड़ रुपये हो गई। बैंक का सकल और शुद्ध एनपीए क्रमशः 4.98 प्रतिशत और 1.29 प्रतिशत रहा।
बैंक की स्थापना 1918 में हुई थी। पश्चिम बंगाल में 17 केंद्रीय सहकारी बैंक हैं जिनकी 336 शाखाओं का नेटवर्क है। राज्य में 5,862 पैक्स हैं।