ताजा खबरेंविशेष

आरबीआई ने चार यूसीबी पर ठोका जुर्माना, दो पर दिशा निर्देश

भारतीय रिजर्व बैंक ने सोमवार को चार अर्बन कोऑपरेटिव बैंकों पर जुर्माना लगाया और दो सहकारी बैंकों पर जारी दिशा-निर्देश की अवधि में विस्तार किया।

आरबीआई ने जिन शहरी सहकारी बैंकों पर जुर्माना लगाया उनमें पुदुक्कोट्टई सहकारी टाउन बैंक, सांगली सहकारी बैंक लिमिटेड, नासिक मर्चेंट सहकारी बैंक और मेहसाणा शहरी सहकारी बैंक शामिल हैं। इसके अलावा, शंकरराव मोहिते पाटिल सहकारी बैंक और शिमशा सहकारी बैंक नियामिथा, मद्दूर पर जारी दिशा-निर्देश की अवधि में विस्तार किया।

भारतीय रिज़र्व बैंक ने पुदुक्कोट्टई को-ऑपरेटिव टाउन बैंक लिमिटेड, पुदुक्कोट्टई, तमिलनाडु (बैंक) पर भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा जारी ‘निदेशक मंडल – यूसीबी’ संबंधी निदेशों के अननुपालन के लिए 25,000 रुपये का मौद्रिक दंड लगाया है।

आरबीआई ने सांगली सहकारी बैंक लिमिटेड, मुंबई (बैंक) पर भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा जारी ‘निदेशक मंडल – यूसीबी’ संबंधी निदेशों के अननुपालन के लिए 2.00 लाख रुपये का मौद्रिक दंड लगाया है।

इसके अलावा, भारतीय रिज़र्व बैंक ने दि नासिक मर्चेंट को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड, नासिक (बैंक) पर भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा जारी ‘यूसीबी में धोखाधड़ी: निगरानी और रिपोर्टिंग तंत्र में परिवर्तन’ और ‘जमा खातों का रखरखाव’ संबंधी निदेशों के अननुपालन के लिए 48.30 लाख रुपये का मौद्रिक दंड लगाया है।

दि मेहसाणा अर्बन को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड, मेहसाणा (बैंक) पर भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा जारी ‘जमाराशि पर ब्याज दर’ संबंधी निदेशों के अननुपालन के लिए 15 लाख रुपये का मौद्रिक दंड लगाया है।

यह दंड, बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 की धाराओं 46(4)(i) और 56 के साथ पठित धारा 47-ए(1)(सी) के प्रावधानों के अंतर्गत भारतीय रिज़र्व बैंक को प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए लगाया गया है।

यह कार्रवाई विनियामकीय अनुपालन में कमियों पर आधारित है और इसका उद्देश्य उक्‍त बैंक द्वारा अपने ग्राहकों के साथ किए गए किसी भी लेनदेन या करार की वैधता पर सवाल करना नहीं है।

भारतीय रिज़र्व बैंक ने शंकरराव मोहिते पाटिल सहकारी बैंक लिमिटेड और शिमशा सहकारी बैंक नियामिथ पर जारी दिशा-निर्देशों की अवधि को तीन महीने की अवधि के लिए बढ़ा दिया है।

संदर्भाधीन निदेश के अन्य सभी नियम और शर्तें अपरिवर्तित रहेंगी।

Tags
Show More

Related Articles

Back to top button
Close