बहुराज्य सहकारी समितियों पर नजर रखने के लिए हाल ही में संशोधित बहु-राज्य सहकारी अधिनियम के तहत स्थापित ओम्बड्समैन ने अपना प्रभाव दिखाना शुरू कर दिया है।
इस कड़ी में, ओम्बड्समैन आलोक अग्रवाल ने केरल स्थित अर्बन केयर मल्टी-स्टेट एग्रो कोऑपरेटिव सोसाइटी लिमिटेड को एक महत्वपूर्ण निर्देश दिया। उन्होंने सोसाइटी को आदेश दिया कि वे स्मृति नीतू विजयन को उनकी फिक्स्ड डिपॉजिट राशि और ब्याज 10 दिनों के भीतर लौटाएं।
यह मामला 26 अगस्त 2024 को सामने आया, जब स्मृति नीतू विजयन ने अपने प्रतिनिधि सुबीश कुमार के माध्यम से शिकायत दर्ज कराई।
उन्होंने बताया कि 13 मई 2024 को उन्होंने अर्बन केयर मल्टी-स्टेट एग्रो कोऑपरेटिव सोसाइटी में 12 लाख रुपये का फिक्स्ड डिपॉजिट किया था, जिसे 9% वार्षिक ब्याज पर 6 महीने के लिए रखा गया था। व्यक्तिगत आवश्यकताओं के कारण उन्होंने 13 जून 2024 को समय से पहले एफडी की निकासी का अनुरोध किया, लेकिन समिति ने न तो उनका अनुरोध स्वीकार किया और न ही उन्हें कोई जवाब दिया।
प्रारंभिक सुनवाई में, समिति ने 9 अक्टूबर 2024 को यह स्वीकार किया कि एफडी मौजूद है और 13 नवंबर 2024 को परिपक्वता के बाद भुगतान किया जाएगा। हालांकि, 7 नवंबर 2024 को हुई सुनवाई में समिति के सीईओ वी. मनोहरन ने अचानक पलटी मारते हुए एफडी के अस्तित्व से इनकार कर दिया और इसे पूर्व सीईओ के कार्यकाल की गड़बड़ियों का परिणाम बताया।
स्मृति नीतू विजयन ने समिति के मैनुअल कैश बुक और लेन-देन रिकॉर्ड के आधार पर सबूत पेश किए, जिससे यह स्पष्ट हुआ कि 24 जून 2024 को एफडी के खिलाफ उन्हें 50,000 रुपये की आपातकालीन नकद अग्रिम राशि दी गई थी।
लोकपाल ने समिति के बयानों में पाई गई गंभीर विसंगतियों पर जोर दिया और कहा कि जमाकर्ताओं का भरोसा उनके द्वारा प्राप्त रसीदों पर होता है। उन्होंने यह भी कहा कि समिति की आंतरिक गड़बड़ियों के लिए जमाकर्ताओं को जिम्मेदार नहीं ठहराया जा सकता।
अपने अंतिम आदेश में लोकपाल ने अर्बन केयर मल्टी-स्टेट एग्रो कोऑपरेटिव सोसाइटी लिमिटेड को स्मृति नीतू विजयन को उनकी शेष राशि और अर्जित ब्याज 10 दिनों के भीतर लौटाने का निर्देश दिया। इसके अलावा, समिति को अनुपालन रिपोर्ट लोकपाल कार्यालय में तुरंत जमा करने का भी आदेश दिया।