संयुक्त राष्ट्र द्वारा 2025 को अंतर्राष्ट्रीय सहकारिता वर्ष (आईवाईसी) घोषित किए जाने के बाद, सहकारिता मंत्रालय और देश की प्रमुख सहकारी संस्थाएं सहकारिता आंदोलन को राज्यों में मजबूत करने के लिए रणनीतिक योजना बनाने में जुट गई हैं।
इस वैश्विक अवसर का लाभ उठाने के लिए नियमित रूप से उच्चस्तरीय बैठकें आयोजित की जा रही हैं। भारतीय राष्ट्रीय सहकारी संघ (एनसीयूआई) के अध्यक्ष दिलीप संघानी ने पहले ही गांव-गांव में सहकारी पहलों को मजबूत करने का आह्वान किया था। इसी कड़ी में सोमवार को केंद्रीय सहकारिता मंत्रालय के अधिकारियों ने आईवाईसी 2025 के अवसरों का लाभ उठाने के लिए रणनीतियों पर चर्चा करने हेतु एक हितधारक बैठक आयोजित की।
केंद्रीय सहकारिता मंत्रालय के सचिव, डॉ. आशीष कुमार भूटानी ने नई दिल्ली में आईवाईसी-नेशनल कोऑपरेटिव कमेटी की पहली बैठक की अध्यक्षता की। बैठक में आईवाईसी के लोगो के प्रचार-प्रसार, व्यापक मीडिया योजना तैयार करने और आईवाईसी से संबंधित गतिविधियों को भारत और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर प्रचारित करने पर चर्चा की गई।
इस बैठक में सहकारिता मंत्रालय के वरिष्ठ अधिकारियों, जैसे रवींद्र कुमार अग्रवाल (अतिरिक्त सचिव एवं केंद्रीय पंजीयक), सिद्धार्थ कुमार जैन (संयुक्त सचिव), और कपिल मीणा (निदेशक), के साथ विभिन्न सहकारी संघों के अध्यक्ष, प्रबंध निदेशक और सहकारी क्षेत्र के अन्य प्रमुख हितधारक शामिल हुए। बैठक में व्यक्तिगत और वर्चुअल दोनों माध्यमों से भागीदारी सुनिश्चित की गई।
यह बैठक सहकारी सिद्धांतों को बढ़ावा देने और आईवाईसी पहल के प्रभावी कार्यान्वयन की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।
हाल ही में दिल्ली स्थित एनसीयूआई मुख्यालय में नववर्ष के संबोधन के दौरान, एनसीयूआई के अध्यक्ष दिलीप संघानी ने 2025 को अंतर्राष्ट्रीय सहकारिता वर्ष घोषित करने के संयुक्त राष्ट्र के फैसले को बेहद महत्वपूर्ण बताया। उन्होंने विशेष रूप से गांवों में जमीनी स्तर पर सहकारी पहलों को मजबूत करने पर जोर दिया।
इससे पहले, एनसीयूआई के तहत सेंटर फॉर एंटरप्रेन्योरशिप डेवलपमेंट एंड कोऑपरेशन (सीईडीसी) ने महिला उद्यमियों की नवगठित समिति की पहली बैठक आयोजित कर आईवीसी 2025 की तैयारियों की शुरुआत की। यह पहल सहकारी आंदोलन में महिला उद्यमियों की महत्वपूर्ण भूमिका को रेखांकित करती है।
गौरतलब है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भारत मंडपम में आयोजित ऐतिहासिक वैश्विक सम्मेलन के दौरान 2025 को अंतर्राष्ट्रीय सहकारिता वर्ष घोषित किए जाने की औपचारिक घोषणा की थी।