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श्वेत क्रांति: एनडीडीबी ने असम सरकार के साथ मिलाया हाथ

केंद्रीय मत्स्य पालन, पशुपालन एवं डेयरी मंत्री, पुरुषोत्तम रूपाला ने पिछले हफ्ते गुवाहाटी में कहा कि किसानों की आय दोगुनी करने के प्रधानमंत्री के दृष्टिकोण को साकार करने में पशुपालन क्षेत्र सहायता कर सकता है। रूपाला राज्य में डेयरी विकास के लिए राष्ट्रीय डेयरी विकास बोर्ड (एनडीडीबी) और असम सरकार के बीच समझौता ज्ञापन पर हस्‍ताक्षर के अवसर पर संबोधित कर रहे थे।

अपने संबोधन में रूपाला ने असम में डेयरी क्षेत्र में वृद्धि और विकास को बढ़ावा देने के लिए राज्य सरकार द्वारा किए गए अभियानों की सराहना की। उन्होंने जोर देकर कहा कि पशुपालन क्षेत्र में नई तकनीक किसानों तक पहुंचनी चाहिए जिससे उन्हें इसका लाभ प्राप्त हो सके।

पीआईबी की ओर से जारी प्रेस विज्ञप्ति के मुताबिक, केंद्रीय मंत्री रूपाला ने असम के मुख्यमंत्री, डॉ. हिमंता बिस्वा सरमा के साथ असम कृषि व्यवसाय एवं ग्रामीण परिवर्तन परियोजना के अंतर्गत पूर्वी डेयरी विस्तार परियोजना का शिलान्यास भी किया।

इस अवसर पर असम के मुख्यमंत्री श्री हिमंता बिस्वा सरमा ने कहा कि राज्य सरकार द्वारा की गई पहलों के माध्यम से ग्रामीण अर्थव्यवस्था में बदलाव आएगा और इससे डेयरी क्षेत्र को भी बढ़ावा मिलेगा। उन्होंने आगे कहा कि एमओयू के अंतर्गत असम में राज्य सरकार और एनडीडीबी के बीच 2,000 करोड़ रुपये के संयुक्त उद्यम की स्थापना की जाएगी।

श्री अतुल बोरा, असम सरकार में कृषि, एएचवीडी और सहकारिता मंत्री ने अपने संबोधन में कहा कि यह उद्यम राज्य में श्वेत क्रांति लेकर आएगा और इसका उद्देश्य प्रतिदिन 10 लाख लीटर से ज्यादा दूध को संभालने और मूल्यवर्धन करने के लिए दुग्ध प्रसंस्करण क्षमताओं का निर्माण करना है। उन्होंने कहा कि इससे न केवल 1.75 लाख से ज्यादा किसानों को अपनी आय में बढ़ोत्तरी करने में सहायता प्राप्त होगी बल्कि इससे दुग्ध मूल्य श्रृंखला के विभिन्न स्तरों पर रोजगार के बहुत सारे अवसर भी उत्पन्न होंगे।

इस कार्यक्रम में डॉ के. बिछुआ, मिजोरम के पशुपालन और पशु चिकित्सा मंत्री, श्री मीनेश शाह, एनडीडीबी के अध्यक्ष, श्री मनिंदर सिंह, असम सरकार के सहकारिता विभाग में अतिरिक्त मुख्य सचिव और श्री अतुल चतुर्वेदी, सचिव, भारत सरकार के पशुपालन एवं डेयरी विभाग भी उपस्थित रहे।

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